■ नवी मुंबई में फर्जी इनकम टैक्स अधिकारी बनकर “डिजिटल अरेस्ट” के नाम पर महिला से 1.81 करोड़ की ठगी; क्राइम ब्रांच की कार्रवाई में गिरोह का भांडाफोड़
सतीश सोनी/मुंबई वार्ता

नवी मुंबई क्राइम ब्रांच ने एक बड़े साइबर फ्रॉड का भांडाफोड़ किया है, जिसमें खुद को इनकम टैक्स अधिकारी बताकर एक महिला प्रोफेसर को 1 करोड़ 81 लाख 72 हजार 667 रुपये की चपत लग गई। इस मामले में तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है और अदालत ने उन्हें पुलिस हिरासत में भेज दिया है।
पीड़ित महिला नवी मुंबई के एक प्रतिष्ठित शिक्षण संस्थान में प्रोफेसर के पद पर कार्यरत हैं। उन्हें एक अज्ञात व्यक्ति का फोन आया, जिसमें बताया गया कि “दिल्ली में आपके खिलाफ टैक्स चोरी की शिकायत दर्ज हुई है” और आप पर 8 लाख 62 हजार रुपये का टैक्स बकाया है।
इसके बाद महिला को WhatsApp के जरिए CBI, ED और सुप्रीम कोर्ट के फर्जी दस्तावेज भेजे गए। आरोपियों ने यह भी कहा कि ‘अमित चौधरी केस’ में आपका क्रेडिट कार्ड मिला है और आप पर कड़ी कार्रवाई होने वाली है। महिला को डराने के लिए कहा गया कि उन्हें डिजिटल अरेस्ट कर लिया गया है।


इसके बाद महिला को बताया गया कि उसकी पूरी संपत्ति की जांच की जाएगी और अगर सब कुछ सही पाया गया, तो पैसे वापस किए जाएंगे। डर के मारे महिला ने अपने शेयर मार्केट और अन्य निवेशों की पूरी जानकारी और बैंक खातों के विवरण आरोपियों को दे दिए।
आरोपियों ने महिला से कुल 1.81 करोड़ रुपये छह अलग-अलग बैंक खातों में ट्रांसफर करवाए। कुछ दिन बाद जब महिला को ठगी का एहसास हुआ, तो उसने नवी मुंबई क्राइम ब्रांच में शिकायत दर्ज कराई।
शिकायत के आधार पर क्राइम ब्रांच ने त्वरित जांच करते हुए तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया:
अजयकुमार लांडगे, (सहायक पोलीस आयुक्त, गुन्हे शाखा ,ACP, Crime Branch) ने बताया कि ये आरोपी लोगों को डिजिटल अरेस्ट की धमकी देकर खुद को फर्जी सरकारी अधिकारी बताकर करोड़ों की ठगी कर रहे थे।
नवी मुंबई पुलिस ने इस गिरोह का पर्दाफाश करते हुए नागरिकों से अपील की है कि वे ऐसे कॉल और मैसेज से सावधान रहें।