मुंबई वार्ता/सतीश सोनी

हमारे लिए राष्ट्रनीति ही राजनीति का आधार है। दूसरी ओर, देश में कुछ राजनीतिक विचारधाराएँ जनता की नहीं, बल्कि सत्ता की सुविधा के लिए काम करती हैं, इन शब्दों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विपक्ष की आलोचना की।


उन्होंने कहा कि मुंबई जैसे शहर में हर मिनट कीमती है। उन्होंने तत्कालीन महा विकास अघाड़ी सरकार (मविआ) की आलोचना करते हुए कहा कि मेट्रो परियोजना के लिए चार-पाँच साल का इंतज़ार करना किसी पाप से कम नहीं है।
साथ ही, प्रधानमंत्री ने दावा किया कि नवी मुंबई हवाई अड्डा विकसित भारत का प्रतीक है।नवी मुंबई अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे का उद्घाटन बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया। इस अवसर पर राज्यपाल आचार्य देवव्रत, मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, अजित पवार, केंद्रीय मंत्री के.आर. नायडू, मुरलीधर मोहोल, रामदास अठावले उपस्थित थे।


मेट्रो की आधारशिला रखने के बाद, उम्मीद थी कि लाखों मुंबईवासियों की यात्रा संबंधी मुश्किलें कम होंगी। हालाँकि, सत्ता परिवर्तन के बाद, उन्होंने इस काम को रोक दिया। प्रधानमंत्री ने आरोप लगाया कि सत्ता मिलने के बावजूद, देश को हज़ारों करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। हमारे लिए, बुनियादी ढाँचे पर खर्च किया गया एक-एक पैसा देशवासियों की सुविधाओं और शक्ति को बढ़ाने का माध्यम है।
मोदी ने कहा कि राजनीति का केंद्र सत्ता नहीं, बल्कि राष्ट्र की समृद्धि होनी चाहिए। उन्होंने अपने भाषण में भूमिपुत्रों के नेता डी. बी. पाटिल को भी याद किया। मोदी ने किसानों और समाज के लिए उनके योगदान को प्रेरणादायक बताया।मुंबईवासियों को आज वो सुविधाएँ मिल गई हैं जिनका उन्हें इंतज़ार था। पिछले 11 वर्षों में, हमने नागरिकों की जीवनशैली को आसान बनाने पर ध्यान केंद्रित किया है। रेलवे, सड़क, हवाई अड्डे, मेट्रो, इलेक्ट्रिक बसें, अटल सेतु, तटीय सड़कों में अभूतपूर्व निवेश किया गया है।
उन्होंने कहा कि हम परिवहन के सभी साधनों को एक साथ ला रहे हैं और ‘एक राष्ट्र – एक गतिशीलता’ की दिशा में कदम बढ़ा रहे हैं।


