नागपुर/ मुंबई वार्ता

“कल्याण में मराठी समाज के लोगों पर हुए हमले को राज्य सरकार ने गंभीरता से लिया है. दोषियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है और कार्रवाई की जा रही है. मुंबई मराठी लोगों की है,” यह बोलते हुए मुख्यमंत्री देवेन्द्र फड़नवीस ने आज विधान परिषद में कहा कि,” वह किसी भी हालत में मराठी लोगों के साथ अन्याय नहीं होने देंगे.”


विधान परिषद सदस्य एडवोकेट अनिल परब ने यह मुद्दा उठाया था. इस चर्चा में विधान परिषद सदस्य शशिकांत शिंदे, अरुण उर्फ भाई जगताप, सचिन अहीर ने भाग लिया.
मुख्यमंत्री फड़णवीस ने कहा कि,” कल्याण की एक सोसायटी के झगड़े में अखिलेश शुक्ला और उनकी पत्नी ने एक मराठी व्यक्ति का अपमान किया. इस मामले में खड़कपाड़ा थाने में मामला दर्ज किया गया है. शुक्ला एमटीडीसी के कर्मचारी हैं और उन्हें निलंबित करने की कार्रवाई की जा रही है. महाराष्ट्र, मुंबई- मराठियों का है. मुंबई की आर्थिक राजधानी होने के कारण देशभर से प्रतिभाएं यहां आती हैं और शांति से रहती हैं। उत्तर प्रदेश के कई लोग धाराप्रवाह मराठी भाषा बोलते हैं, कई मराठी त्योहार मनाते हैं। हालांकि, ऐसे कुछ लोगों के कारण यह सामाजिक सौहार्द बिगड़ा है,.”
मुख्यमंत्री फड़णवीस ने यह भी कहा कि, ” संविधान ने इसकी आजादी दी है कि कोई क्या खाएगा. लेकिन इस तरह से रोकने का अधिकार किसी को नहीं है. भोजन के आधार पर भेदभाव स्वीकार्य नहीं है. ऐसी शिकायतों पर उचित कार्रवाई की जाएगी।देश में विविधता बनी रहे, यह हमारी जिम्मेदारी है।’ क्षेत्रीय पहचान का मतलब है कि हमें मराठी होने पर गर्व है, हम इस पर कोई हमला बर्दाश्त नहीं करेंगे, इसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.”


