मुंबई वार्ता/सतीश सोनी

कुछ चोरों के लिए चोरी एक पारंपरिक पेशा है। अगर पिता चोर है, तो अक्सर बच्चे भी उनके नक्शेकदम पर चलते हुए चोरी करते हैं। लेकिन पिता और बेटे का एक साथ चोरी करना भी दुर्लभ है। आरे पुलिस ने चोरी के एक मामले में ऐसे ही एक पिता-पुत्र को गिरफ्तार किया है। ये दोनों एक धर्मशाला के मालिक भी हैं।


18 अक्टूबर को गोरेगांव के आरे कॉलोनी में एक बंगले में चोरी हुई थी। अज्ञात चोर शीशा तोड़कर बंगले में घुस गए। उन्होंने बंगले से कुल ३६ लाख रुपये के गहने और महंगी धातु की मूर्तियाँ चुरा लीं। आरे पुलिस ने इस मामले में चोरी का मामला दर्ज किया था। हालाँकि, चोरी करने वाले आरोपियों का कोई सुराग नहीं मिला। बंगले के सीसीटीवी फुटेज में दो संदिग्ध घूमते हुए दिखाई दिए। उन्होंने अपनी पहचान छिपाने के लिए अपने चेहरों पर नकाब लगा रखे थे।
आरे पुलिस की अपराध अन्वेषण शाखा ने चोरी की जाँच शुरू की थी। आरोपियों के चलने के तरीके और खुफिया जानकारी के आधार पर दो लोगों को गिरफ्तार किया गया। दोनों आरोपी पिता-पुत्र थे। उनके नाम नियातुल्लाह खान उर्फ जूली (३८) और शाहिद खान (१९) हैं। आरोपी आदतन अपराधी थे। वे साथ मिलकर चोरी करते थे। लेकिन वे कभी पकड़े नहीं गए। पुलिस को चकमा देने के लिए वे बहुत सावधान रहते थे।
पुलिस ने बताया कि सीसीटीवी कैमरों में नज़र आने से बचने के लिए वे नकाब पहनते थे। आरोपी नियातुल्लाह खान कई सालों से आपराधिक क्षेत्र में है। उसने अपने बेटे को भी प्रशिक्षित किया था। अपने बेटे की मदद से वह चोरी करता था। पुलिस ने यह भी बताया कि नियातुल्लाह अक्सर अपने बेटे को आगे भेजकर टोह लेता था।


