भिवंडी / मुंबई वार्ता

भिवंडी के निकट कटाई ग्राम पंचायत क्षेत्र से एक नाबालिग स्कूली छात्रा के अपहरण के मामले में भिवंडी क्राइम ब्रांच ने उसके प्रेमी को जालना से गिरफ्तार कर अपहृत लड़की को मुक्त कराने में सफलता हासिल की है।
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार 8 दिसंबर को 10वीं कक्षा में पढ़ने वाली 16 साल 10 महीने की स्कूली छात्रा स्कूल से घर नहीं आई तो उसके परिवार ने निजामपुर पुलिस में लड़की के गुमशुदा होने की शिकायत दर्ज कराई। लड़की नाबालिग थी.पुलिस ने अपहरण का मामला दर्ज किया और जांच शुरू की थी। भिवंडी अपराध शाखा भी अपराध की समानांतर जांच कर रही थी।


परिजनों द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार भिवंडी क्राइम ब्रांच के सहायक पुलिस निरीक्षक धनराज केदार के नेतृत्व में टीम ने मोबाइल फोन की तकनीकी जांच की तो पता चला कि अपहरणकर्ता नाबालिग लड़की को लेकर छत्रपति संभाजी नगर जा रहा था, इस तरह की जानकारी मिलते ही भिवंडी क्राइम ब्रांच की टीम तुरंत घटनास्थल की तरफ रवाना हुई और जालना रेलवे स्टेशन से अपहरण की गई छात्रा और उसके प्रेमी अपहरण कर्ता को गिरफ्तार कर लड़की को बचा लिया गया।
क्राइमब्रांच भिवंडी की टीम ने छात्रा और अपहरणकर्ता को भिवंडी लाकर निजामपुर पुलिस को सौंप दिया। पुलिस सूत्रों के अनुसार निजामपुर पुलिस ने अपहरणकर्ता के ऊपर अपहरण करने, बलात्कार तथा पोस्को के तहत मामला दर्ज किया है ,आगे की जांच जारी है।
11 माह में 6 पुलिस स्टेशन के अंतर्गत गायब हुए 60 बच्चे,18 मिले 42 की खोजबीन जारी
मजदूर बाहुल्य भिवंडी में नाबालिग बच्चों के अपहरण की घटना में जोरदार इजाफा हुआ है।पिछले 11 माह में यहां के छह पुलिस स्टेशन हद में कुल 60 नाबालिग बच्चों का अपहरण हुआ है।जिसमे से मात्र 18 बच्चे ही बरामद हुए है।जबकि अभी भी 42 बच्चे लापता है।जिनकी तलाश पुलिस कर रही है।इस प्रकार की जानकारी डीसीपी मोहन दहिकर ने दी है।लेकिन शहर में बढ़ती नाबालिगों के गायब होने की घटना से अभिभावकों में भय का माहौल व्याप्त है। अब तो लोग घरों से अकेले बच्चों को स्कूल तक भेजने में डरने लगे है।
वर्ष 2023 में अपहरण की 172 घटना घटी,65 बच्चे व 86 नाबालिग लड़कियां बरामद
इससे पहले वर्ष 2023 में अपहरण के 172 मामले दर्ज किए गए, जिनमें 100 नाबालिग लड़कियां और 66 नाबालिग लड़के शामिल हैं।जिसमें से 65 बच्चे व 86 नाबालिग लड़कियां बरामद हुई है।जबकि 14 बालिकाएं अभी भी लापता हैं।पुलिस सूत्रों के अनुसार भिवंडी में बड़ी संख्या में मजदूर वर्ग के लोग रहते हैं। पति ,पत्नी के मजदूरी या नौकरी हेतु घर से बाहर चले जाते हैं और बच्चों को घर के भाई-बहनों के भरोसे छोड़ देते हैं।जिसका फायदा उठाकर चोरी करने वाले या नशीली दवाएं लेने वाले चोर बच्चों को बहका लेते हैं।जबकि कुछ गलती से सड़क पर भटक जाते हैं।


