मुंबई वार्ता/शिव पूजन पांडेय

मीरा भायंदर शहर के अस्पतालों में महानगरपालिका द्वारा संचालित सरकारी एम्बुलेंस सेवा और शववाहिनी के इंतज़ाम बदहाली का शिकार हो गयी है। लोगों का आरोप है कि जब भी इस सेवा का लाभ लेने के लिए अस्पताल या मनपा से संपर्क किया जाता है तो उन्हें टालमटोल या फिर नकारात्मक लहजे में ही जवाब मिलता है। कभी एम्बुलेंस के ख़राब होने या दुरुस्ती में होने या फिर उनकी संख्या कम होने का बहाना बनाकर इस सुविधा से वंचित रखा जाता है।


कई लोगों का ये भी आरोप है कि मनपा स्वास्थ्य विभाग के ही कुछ अधिकारी इन एम्बुलेंस सप्लाई करने वालों से सांठगांठ कर लेते है ताकि एम्बुलेंस मलिक को फायदा पंहुचाकर मोटी रकम कमीशन के तौर पर लेते है. मरता क्या ना करता, मरीजों के परिजनों को मजबूरन बड़ी रकम चुकानी पड़ती है और असुविधा अलग से।लोगों से लगातार मिल रही इस तरह की शिकायतों पर भाजपा नेता 145 मीरा भायंदर विधानसभा चुनाव प्रमुख एड. रवि व्यास ने मनपा आयुक्त को पत्र लिखकर इस गड़बड़ घोटाले की जाँच करने की मांग की है।


रवि व्यास का कहना है कि करोड़ो रुपये खर्च कर ख़रीदे गए एम्बुलेंस के आकड़ो के मुकाबले ज़मीनी स्तर पर इनकी संख्या काफी कम दिखाई पड़ती है और आम जनता को इसका पर्याप्त लाभ नहीं मिल रहा है। जिसका सीधा असर चरमराती शासकीय सेवा और अस्पतालों में दिख रही है और इसका खामियाजा आम जनता को भुगतना पड़ रहा है। इसलिए इस मामले की तत्काल जाँच अति आवश्यक है। एड व्यास ने आयुक्त से मांग की है कि एम्बुलेंस सेवा को तत्काल स्थायी और नियमित बनाये जाने को लेकर उपाययोजना तैयार की जाए।इस बारे में लापरवाही को लेकर प्राप्त सभी शिकायतों की निष्पक्ष जाँच कर दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।
ख़रीदे गए एम्बुलेंस और उनकी यथावत स्थिति की पूरी जानकारी पारदर्शी तरीके से उपलब्ध हो और जनता के संपर्क के लिए भी एक सिस्टम तैयार किया जाए। यहाँ तक कि इस पूरी सरकारी यंत्रणा को लेकर एक प्रभावी व्यवस्था बने ताकि जनता को इस आवश्यक सेवा को लेकर कोई असुविधा ना होने पाए।



प्रशासन को ध्यान देना चाहिए